60 साल बाद खुला कैंडी रोजर मर्डर का राज: एक दिल दहला देने वाली घटना
स्पोकन, वाशिंगटन— अमेरिका का यह ऐतिहासिक शहर, जो सेल्किर्क पर्वत और स्पोकन नदी के किनारे बसा है, अपनी कला और संस्कृति के लिए प्रसिद्ध है। यह वही जगह है जहाँ से फादर्स डे का उत्सव दुनिया में पहली बार मनाया गया था। प्राकृतिक सुंदरता से भरे इस शहर की एक गहरी और दर्दनाक कहानी है, जिसने इस शांति और सौंदर्य को एक बार हिला कर रख दिया था।
यह कहानी है 9 साल की कैंडी रोजर की, जिसने 60 सालों तक एक अनसुलझे रहस्य के रूप में दहशत पैदा की थी। एक मासूम लड़की, जिसे एक मानसिक रूप से विच्छिद व्यक्ति ने अपनी दरिंदगी का शिकार बनाया। इस मर्डर केस की सच्चाई आखिरकार खुली जब पुलिस और फॉरेंसिक टीम ने गुम हुए सुरागों को जोड़ने में कामयाबी हासिल की।
कैंडी रोजर मर्डर केस: एक रहस्य की शुरुआत
साल 1949 में स्पोकन के रहने वाले इलेन और कार्ल रोजर के घर जन्मी कैंडी रोजर का जीवन शुरुआती दिनों में बेहद सामान्य था। हालांकि, उसके माता-पिता के तलाक के बाद उसकी देखभाल उसकी मां इलेन ने अकेले ही की। इलेन, जो एक स्कूल टीचर थी, ने कैंडी को अच्छे से पाल-पोस कर बड़ा किया।
कैंडी एक खुशमिजाज और प्यारी बच्ची थी, जिसने अपने स्कूल होल्म एलीमेंट्री में भी अपनी काबिलियत और अच्छे व्यवहार से सभी का दिल जीत लिया। वह हमेशा मुस्कुराकर लोगों का स्वागत करती थी, और लोग भी उसे बेहद पसंद करते थे। बचपन से ही कैंडी “कैंप फायर गर्ल” बनना चाहती थी, जो लड़कियों के लिए आउटडोर एक्टिविटी कराने वाली एक प्राइवेट संस्था थी।
6 मार्च 1959: गायब होने का दिन
6 मार्च 1959 का दिन कैंडी रोजर के जीवन का आखिरी दिन साबित हुआ। स्कूल से छुट्टी के बाद, कैंडी अपने घर पहुँची और फिर अपने कुत्ते ब्रिफली के साथ आंगन में खेली। इसके बाद वह अपनी माँ से अनुमति लेकर अपने साथ लाए हुए कैंप फायर बॉक्स बेचने के लिए निकल पड़ी।
जब रात 5:42 पर अंधेरा हो गया और कैंडी घर नहीं लौटी, तो उसकी मां इलेन की चिंता बढ़ गई। इलेन को पता था कि कैंडी कभी भी अंधेरा होने से पहले घर आ जाती थी। इस चिंता के चलते उसने अपने परिवार के लोगों को सूचित किया और पड़ोसियों की मदद से कैंडी की तलाश शुरू की।
कैंडी की खोज: मौत का हेलीकॉप्टर हादसा
कैंडी की तलाश में पुलिस और पड़ोसियों ने शहरभर में खोजबीन शुरू की। कुछ लोगों ने आखिरी बार उसे 6 बजे के आसपास कैंप फायर मिंट बॉक्स बेचते हुए देखा था। खोज के दौरान 7 में से 6 बॉक्स रास्ते में बिखरे हुए मिले, लेकिन कैंडी का अब तक कोई सुराग नहीं मिला।
बात इतनी बढ़ गई कि सेना के हेलीकॉप्टर की मदद से भी कैंडी को ढूंढ़ने की कोशिश की गई। लेकिन दुर्भाग्यवश, यह खोज अभियान और भी दुखद घटना में तब्दील हो गया जब हेलीकॉप्टर स्पोकन नदी के पास हाई टेंशन वायर से टकरा गया और क्रैश हो गया। इस दुर्घटना में 3 लोगों की मौत हो गई, जिसने कैंडी की तलाश में लगे लोगों को अंदर तक हिला दिया।
22 मार्च 1959: जंगल में मिले कैंडी के जूते
कैंडी के गायब होने के 16 दिन बाद, जंगल में शिकार करने गए दो शिकारी अचानक एक छोटे बच्चे के जूते देखकर हैरान हो गए। वे जूते कैंडी के थे। जब उन्होंने पुलिस को इसकी जानकारी दी और कैंडी के दादाजी ने पुष्टि की कि वे जूते कैंडी के ही थे, तब पुलिस ने उसी क्षेत्र में गहन छानबीन शुरू की।
एक पुलिस अधिकारी को चीड़ के लट्ठों के ढेर के पास एक संदिग्ध चीज दिखाई दी। जब उन्होंने पास जाकर देखा, तो उनके होश उड़ गए। वहाँ कैंडी का मृत शरीर था। 9 साल की इस मासूम बच्ची के साथ जो हुआ था, वह न सिर्फ दिल दहला देने वाला था, बल्कि स्पोकन शहर को हिला देने वाला भी।
60 साल बाद खुली गुत्थी
कैंडी रोजर की हत्या ने पूरे शहर को सदमे में डाल दिया था, और यह मामला दशकों तक अनसुलझा रहा। कई सालों तक इस केस पर कोई ठोस सबूत नहीं मिले, लेकिन 60 साल बाद पुलिस ने नवीनतम फॉरेंसिक तकनीक का इस्तेमाल किया और आखिरकार मामले को सुलझाने में कामयाबी हासिल की। DNA जांच के माध्यम से हत्या के आरोपी की पहचान हो सकी और कैंडी को न्याय मिला।
यह मामला एक सच्चाई है कि कितने भी साल बीत जाएं, न्याय पाने की उम्मीद कभी नहीं मरती।
सीख
कैंडी रोजर मर्डर केस स्पोकन के इतिहास में एक काले अध्याय की तरह है, जिसने पूरे अमेरिका को झकझोर दिया। इस मामले ने दिखाया कि तकनीक और कानून की मदद से अपराधी को चाहे कितने ही साल बाद क्यों न हो, सजा जरूर मिलती है। कैंडी रोजर की मासूमियत की यादें आज भी लोगों के दिलों में जिंदा हैं, और उसकी कहानी हमें यह सीख देती है कि कभी भी उम्मीद नहीं छोड़नी चाहिए।